फ्रेंड आज हम बात करेंगे मांसाहारी जीव-जन्तु हमेशा शाकाहारी जीव-जन्तुओं का शिकार करते है। खुद से बड़े या कमजोर जीव-जन्तुओं का शिकार क्यों नहीं करते, GENERAL KNOWLEDGE IN HINDI QUESTION ANSWER,


यह एक ऐसा Question है जो हर किसी ने अपने स्कूल टाइम में पढ़ा ही होगा प्रकृति के जीवन चक्र Nature lifecycle के बारे में आज हम उसकी थोड़ी बात कर लेते है। मांसाहारी जीव-जन्तु हमेशा शाकाहारी जीव-जन्तुओं का शिकार करते है, वह उन दूसरे मांसाहारी जीव जन्तुओं का शिकार नहीं करते जो उनसे बड़े होते हैं, यानी जंगल का शेर अपने से बड़े या कमजोर किसी भी मांसाहारी जीव-जन्तुओं जैसे की सियार, बाघ, आदि का शिकार नहीं करता जबकि अपने से ताकतवर और तेज से भागने वाले शाकाहारी जीजीव-जन्तुओं का शिकार जरूर करता है। सवाल यह है कि वो ऐसा क्यों करते है। क्या उसे बचपन से ही ऐसी आदत डाली जाती है या फिर इसके पीछे प्रकृति की कोई लीला है या कोई विज्ञान का कोई Scientific Reason है।



आइए, समझने की कोशिश करते हैं:-

स्कूल में पढ़ी गई खाद्य श्रृंखला Food Chain को अगर आप याद करेंगे तो उसके अनुसार, पेड़, पौधे, सूर्य की रोशनी से अपना भोजन बनाते हैं। पेड़-पौधों को शाकाहारी जीव जन्तु खाते हैं और अंत में ये शाकाहारी जीव, मांसाहारी जीव जन्तु का भोजन बन जाते हैं। पेड़ पौधे सूर्य से जो ऊर्जा ग्रहण करते हैं, वह भोजन श्रृंखला के जरिए तमाम जीव जन्तुओं तक पहुंचती है लेकिन यह ऊर्जा हर कदम पर कम होती जाती है। ऊर्जा के इन अलग-अलग स्तरों को Trophic Level कहा जाता है। कोई भी शाकाहारी या मांसाहारी जीव जन्तु किस Trophic Level में आता है, यह उसके खान-पान के व्यवहार पर निर्भर करता है।



उदाहरण के लिए

Trophic Level - 1 में पेड़ पौधे आते हैं और वे सूर्य की रोशनी से उर्जा लेते हैं।

Trophic Level - 2 पर कीट, कीड़ा-मकोड़ा या अन्य शाकाहारी जीव जन्तु आते हैं जो पेड़-पौधों से ऊर्जा लेते हैं।

Trophic Level - 3 पर इन जीव जंतुओं को खानेवाले मांसाहारी जीव-जन्तु होते हैं।


यह भी पढ़े:- How to Use Clamp


यहां पर जानने वाली बात यह है कि Trophic Level-3 पर ऊर्जा का श्रोत लेवल-2 की तुलना में कम होगा और Level-2 पर यह Level-1 से कम होगा। कहने का मतलब यह है कि खाद्य श्रृंखला या Trophic Level में आगे बढ़ते जाने पर भोजन से मिलने वाली ऊर्जा बारी-बारी से कम होती जाती है।

ध्यान देने वाली बात यह है की अगर वो जीव जन्तु अपने ही Trophic Level के किसी जीव को अगर खाते है तो उन्हें भोजन से मिलने वाली ऊर्जा की मात्रा और भी कम हो जायेगा और जिसके कारण मांसाहारी जीव-जन्तु पेट भरकर भरपूर भोजन करने के बाद भी वो ज्यादा दिनों तक जिंदा नहीं रह पायेंगे ।

अगर सरल शब्दों में कहूँ तो यह है कि अपनी पूर्ण आयु को जीने के लिए उचित भोजन की आवश्यकता होती है और उचित भोजन की परिभाषा सभी के लिए अलग अलग है। अब एक और सवाल मन में आता है की यदि बात ऊर्जा की है। तो मांसाहारी जीव जन्तु ऊर्जा के सबसे पहले स्तर यानी Trophic Level 1 वनस्पति को अपना आहार क्यों नहीं बनाते हैं। यदि बाघ को बचपन से घास फुश खिलाई जाए तो क्या उसकी उम्र बढ़ सकती है।




Trophic Level (पोषण स्तर)


प्रत्येक पोषण स्तर पर 10 % ऊर्जा कम हो जाती है अर्थात शाकाहारी को मांसाहारी से 10 %अधिक ऊर्जा मिलती है। इन तीनों पोषण स्तरों के अतिरिक्त खाद्य श्रृंखला Food chain को विच्छिन्‍न करने वाला तथा इसे खत्म करने वाला मतलब सबकुछ खाने वाला भी इसमें महत्वपूर्ण योगदान निभाते हैं। अपघटको Decomposers को प्रकृति के सफाई वाला भी कहा जाता है जो खाद्य श्रंखला की निरंतरता Continuation को बनाए रखने के लिए बहुत महत्वपूर्ण योगदान देती है।

इंसान कौन से श्रेणी में आता है, Vegetarian या Non-Vegetarian


में आपको यह बताना चाहता हूँ की इंसान एक तरह का (Omnivorous creature) मतलब की सब कुछ खाने-पीने वाला है, जो अपनी जरूरत के अनुसार Vegetarian तथा Non-Vegetarian दोनों प्रकार का खाना खा सकता है, मेरे कहने का मतलब यह है की मांसाहारी जानवर से भी अधिक संकटमय इंसान होता है, जो अपनी जरूरत पड़ने पर इंसान किसी भी जीव-जन्तु को अपना आहार बना सकता है,


क्या आप जानते है शेर या कोई भी शाकाहारी जानवर भूखा होने पर भी घास क्यों नहीं खाता है।


प्रत्येक जीव-जन्तु को खाने-पीने की आदतें उसके शारीरिक संगरचना पर पूर्ण रूप से उसके पाचन पर निर्भर करता है, मांसाहारी जानवर का पाचन क्रिया चबाने वाले जानवरों जैसे नहीं होते है, जो सिर्फ घास-फूस ही खाते है, जैसे गाय, बकरी, भैंस, ETC इसी के कारण कोई भी मांसाहारी जीव-जन्तु घास-फूस ही खाते है, मांसाहारी जीव-जन्तु के शरीर में घास-फूस को पचाने की  छमता नहीं होती है इस कारण कोई भी मांसाहारी जीव-जन्तु घास-फूस ही खाते है,


यह भी पढ़े:- How to Use Clamp

Post a Comment

Please Don't Write & Enter Here Any Spam link In The Comment Box Thank You!

Previous Post Next Post